कोलकाता: पश्चिम बंगाल के बहुचर्चित कोयला और मवेशी तस्करी मामले में जांच कर रही केंद्रीय एजेंसियों के निशाने पर अब राज्य पुलिस भी आ गई है। सीबीआई सूत्रों की माने तो राज्य में कोयला और मवेशी दोनों ही तस्करी के मामले में राज्य की सत्तारूढ़ पार्टी से जुड़े बड़े नेताओं ने पूरे गिरोह को संभाला और चलाया है लेकिन इसमें राज्य पुलिस की भी भूमिका कम नहीं है।
सूत्रों की माने तो अणुव्रत मंडल और उसके सहयोगियों ने बड़े पैमाने पर कोयले और मवेशियों की तस्करी के लिए सत्तारूढ़ पार्टी का लोगो का वाहन इस्तेमाल किया। उन वाहनों का नंबर पुलिस अधिकारियों को दिए गए थे जिन्हें सड़क पर कहीं भी नहीं रोकने के आदेश थे।
इतना ही नहीं तस्करी को सुरक्षित पैसेज देने की जिम्मेवारी भी पुलिस को दी गई थी। इसके लिए आईपीएस रैंक के आला अधिकारियों को मोटी रकम भी दिए जाने का बात प्रकाश में आई है। उस राशि को बड़े रैंक से लेकर थाना स्तर तक के छोटे अधिकारियों तक में बांटा जाता था।
तस्करों के घरों से बरामद हुई डायरी और पूछताछ में कई ऐसे साक्ष्य भी सामने आए हैं जिसे लेकर अब अधिकारियों पर नकेल कसने की तैयारी की जा रही है। राज्य में कानून व्यवस्था के एडीजी ज्ञानवंत सिंह भी इसी सूची में हैं जिनसे पूछताछ के लिए ईडी कई बार नोटिस दे चुकी है और दिल्ली में उनसे पूछताछ का वीडियो भी रिकॉर्ड किया गया है।
अब सिंह समेत अन्य अधिकारियों से पूछताछ की तैयारी की जा रही है। केंद्रीय एजेंसी के सूत्रों ने बताया है कि अगले हफ्ते से ऐसे अधिकारियों के नाम नोटिस जारी किए जाएंगे जिनसे पूछताछ होनी है।